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संसद में जोशीले भाषण तो आम हैं, मगर 20 जुलाई 2018 को लोकसभा में एक अनूठा नजारा दिखा था। अपनी कुर्सी पर बैठे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अचानक गले लगाकर कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने चौंका दिया था। उससे पहले अपने संबोधन में राहुल ने कहा था कि कांग्रेस का अप्रोच गुस्‍से से भरा नहीं है। बीजेपी उनसे चाहे जितनी नफरत करे, वह नाराज नहीं हैं। पीएम अचानक गले पड़े राहुल को देखकर असहज जरूर हुए थे। फिर राहुल को बुलाकर उन्‍होंने हाथ मिलाया, फिर पीठ पर हाथ फेरा और कान में कुछ कहा।

दो शीर्ष नेताओं के बीच चार साल पहले का यह वाकया उनके बीच के असहज रिश्‍ते को साफ जाहिर करता है। ऐसी ही असहजता जन्‍मदिन के अवसरों पर दोनों के बधाई संदेशों में भी दिखती है। शुक्रवार को मोदी का जन्‍मदिन था। राहुल गांधी ने एक छोटा सा ट्वीट किया, ‘हैप्‍पी बर्थडे, मोदी जी।’ मोदी ने पिछले दो साल से राहुल गांधी को जन्‍मदिन की बधाई नहीं दी है।

बस ‘हैप्‍पी बर्थडे, मोदी जी’ लिखा और हो गई बधाई

दो साल से पीएम मोदी ने राहुल को नहीं दी बधाई

राहुल गांधी ने नरेंद्र मोदी को हर साल उनके जन्‍मदिन (17 सितंबर) पर बधाई दी है। हालांकि पीएम मोदी ने 2020 में पांच साल में पहली बार राहुल गांधी को जन्मदिन (19 जून) की बधाई नहीं दी थी। इस साल भी मोदी ने राहुल के बर्थडे पर कोई ट्वीट नहीं किया। हालांकि उससे पहले, 20 अप्रैल को पीएम मोदी ने राहुल की जल्‍द रिवकरी के लिए प्रार्थना की थी।

2020 में राहुल के बधाई संदेश पर ‘थैंक्‍यू’ बोले थे पीएम

दो साल पहले तक यूं दी जाती थीं बधाइयां

मोदी और राहुल के बीच जन्‍मदिन के बधाई संदेशों में शब्‍द इधर कम होते गए हैं। दो साल पहले तक दोनों नेता एक-दूसरे के लिए कुछ लाइनें लिखते थे।

2018 में दोनों मांग रहे थे एक-दूसरे की सलामती की दुआ

2018-

साल 2018 में भी मोदी और राहुल के बर्थडे ट्वीट्स में दिखावे के लिए ही सही, गर्मजोशी नजर आती थी।



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By admin

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