हाइलाइट्स
- जैश कमांडर आशिक अहमद नैगरू पहले ट्रक चलाता था
- अब उसी नेटवर्क का फायदा उठाकर आतंकी गतिविधि को बढ़ा रहा है
- आशिक के पाकिस्तान में जाने के बाद ही ड्रोन के मामले सामने आने लगे
प्रदेश में हो रहे ड्रोन हमले को जैश कमांडर आशिक अहमद नैगरू करवा रहा है। इस बात की जानकारी एजेंसियों को मिल रही है। इस बात को अभी अधिकारिक तौर पर नहीं कहा जा रहा है, लेकिन अभी तक के सबूतों से साफ हो रहा है कि इसमें जैश कमांडर आशिक नैगरू का हाथ है।
2019 में पाकिस्तान गया था आशिक
जैश का कमांडर आशिक अहमद नैगरू वर्ष 2019 में सांबा बॉर्डर से पाकिस्तान गया था। इसमें उसकी मदद हिदायतउल्लाह और यासिर ने की थी। कश्मीर से अपने परिजनों के साथ एक कार में सवार होकर आया। उसके बाद सांबा बॉर्डर से उसे पाकिस्तान भेजा गया था। तब से ही वह पाकिस्तान में बैठ कर आतंकी संगठन को मजबूत करने के काम में लगा हुआ है। उसके पाकिस्तान में जाने के बाद ही ड्रोन के मामले सामने आने लगे हैं। गंग्याल में गिरफ्तार हुए चार जैश आतंकियों की पूछताछ के दौरान भी इन बातों का पता चला है। हिदायतउल्लाह ने भी पूछताछ के दौरान माना था कि उसने ही नैगरू को पाक जाने में मदद की थी।
खतरे को भांप भागा पाकिस्तान
जानकारी के अनुसार, आशिक नैगरू कभी सुरक्षाबलों के लिए मुखबिरी करता था। पेशे से ट्रक चालक नैगरू पुलवामा जिले का रहने वाला है, लेकिन बाद में वह जैश का सक्रिय आतंकी बन गया। कश्मीर में खूब नाम बनाने के बाद जब उसे लगा कि उसे खतरा है तो वह पाकिस्तान में चला गया। अब आतंकी गतिविधियों को पाकिस्तान से ही अपरेट कर रहा है। गंग्याल पुलिस ने जिन चार आतंकियों को गिरफ्तार किया। उनकी पहचान मुंतजर मंजूर उर्फ सैफउल्ला, इजाहर खान उर्फ सोनू खान, तोसीफ अहमद शाह उर्फ शौकत और जागिर अहमद बट के रूप में हुई है। इनमें दो को जेल में भेजा दिया गया है। एक जेआईसी में है और एक थाने की हवालात में बंद है।
पूछताछ में मिली अहम जानकारी
जागिर अहमद की पूछताछ के दौरान कई बातों का पता चला है। उसने पहले भी आतंकियों के साथ मिलकर कई काम किए हैं। झज्जरकोटली में जब पुलिस के जवानों की आतंकियों के साथ मुठभेड़ हुई थी तो उस समय भी उसकी आल्टो कार का इस्तेमाल हुआ था। जिस ट्रक में आतंकी सवार थे, उसके आगे रेकी करने के लिए जो कार चल रही थी, वह उसकी ही थी। जिसे आशिक नैगरू का भाई चला रहा था, जो बाद में गिरफ्तार किया गया था। आशिक नैगरू ने जब पाकिस्तान में जाना था तो तब भी उसकी ही कार का इस्तेमाल किया गया था।
ड्रोन मामले का लिंक नैगरू से जुड़ रहा
इन मामलों की जांच के दौरान साफ हो रहा है कि इन दिनों जो ड्रोन के मामले हो रहे हैं, उसमें आशिक नैगरू का हाथ है, क्योंकि वह सोशल साइटों के माध्यम से आतंकियों के संर्पक में रहता है। खुद ट्रक चालक रह चुका नैगरू का ट्रक चालकों के साथ काफी संपर्क है। इसलिए वह सामान को भेजने के लिए और आतंकियों को आगे पीछे ले जाने के लिए ट्रक चालकों की मदद लेता है। एजेंसियों की तरफ से इस बात पर पूरी जांच की जा रही है। यह पूरी तरह से साफ हो रहा है कि ड्रोन मामलों में नैगरू का हाथ है, जोकि पाकिस्तान से इस पूरे मामले को चला रहा है।